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इसे कहते हैं सच्चा प्यार: लडक़ी के हाथ-पैर कटने पर भी शादी की जिद पर अड़ा मंगेतर…

इसे कहते हैं सच्चा प्यार: लडक़ी के हाथ-पैर कटने पर भी शादी की जिद पर अड़ा मंगेतर…

लडक़ी के हाथ-पैर कटने पर भी शादी की जिद पर अड़ा मंगेतर – इसे आप सच्चा प्यार कह सकते हैं। प्यार सच्चा हो तो आदमी को दिल ही दिखता है, कुछ और नहीं। गुजरात की यह कहानी भी कुछ ऐसी है। हुआ यूं कि मंगनी के दो महीने बाद ही 19 साल की लडक़ी को ऐसा जबर्दस्त इलेक्ट्रिक शॉक लगा कि उसकी जिंदगी बचाने के लिए उसके दोनों पैर और एक हाथ को काटना पड़ा।

इस घटना में सबसे हैरानी वाली बात यह रही कि इस लडक़ी के होने वाले दूल्हे ने अपनी भावी संगनी का साथ निभाने का फैसला किया। वह 6 महीने तक हॉस्पिटल में अपनी मंगेतर का इलाज कराता रहा,लेकिन उसे बचा नहीं सका। मरने के बाद मंगेतर को दुल्हन की तरह सजाया गया। आंखों में आंसू लाने वाली सच्चे प्यार की यह कहानी गुजरात के जामनगर की है।

हरिल और चिराग का प्यार दुनिया के लिए मिसाल बन गया है। हरिल और चिराग की 8 महीने पहले मंगनी हुई थी। मंगनी के दो महीने बाद ही हरिल को इलेक्ट्रिक शॉक लगा और दोनों पैरों के साथ एक हाथ भी काटना पड़ा। इस घटना के बाद भी चिराग ने हरिल का साथ नहीं छोड़ा।

वह 6 महीने तक अहमदाबाद के सिविल हॉस्पिटल में उसका इलाज कराता रहा। हरिल की 5 सर्जरी हुई। हरिल चिराग के इस फैसले से खुश थी। चिराग अपनी मंगेतर हरिल की बहुत अच्छे से देखभाल कर रहा था। हाथ और पैर कट जाने के बाद भी चिराग ने हरिल को जो प्यार दिया, उससे हरिल अपना सारा दर्द भूल गई।

सिविल हॉस्पिटल में हरिल का 6 महीने से इलाज चल रहा था और अब हरिल के पैरों की सर्जरी होनी थी, पर उससे पहले ही उसने दम तोड़ दिया। जब हरिल की मौत की खबर चिराग को दी गई तो चिराग का दर्द देख यहां मौजूद हर किसी की आंखों में आंसू थे।

चिराग और हरिल ने पूरा जीवन साथ बिताने का सपना देखा था। दोनों शादी करना चाहते थे, लेकिन किस्मत को कुछ और ही मंजूर था। हरिल को जब अंतिम विदाई दी गई तो उसे दुल्हन की तरह सजाया गया। हरिल के जाने का बाद अब चिराग की जिदंगी बेरंग हो गई। हर कोई हरिल और चिराग के प्यार को सच्चा प्यार बताकर उसकी मिसाल दे रहा है। सबका यही कहना है कि सच्चे इश्क की कोई जुबां नहीं होती। उसे बस महसूस ही किया जा सकता है।

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