खजुराहो मंदिर का रहस्य, क्यों बना भारत में ऐसा विचित्र मंदिर | जानिये…

खजुराहो मंदिर का रहस्य, क्यों बना भारत में ऐसा विचित्र मंदिर | जानिये…

 

भारत जैसे देश में काम-वासना पर चर्चा करना एक गंभीर विषय है लेकिन आज हम आपको बताने वाले भारत के एक ऐसे मंदिर के बारे में जो इस बात का समर्थन करता है की काम वासना कोई गलत नहीं है और भारत में ऐसा मंदिर क्यों बना |

आज हम आपको जिस मंदिर के बारे में बता रहे है वह मध्यप्रदेश के छतरपुर जिले में स्थित है | इसे खजुराहो का मंदिर कहते है | इसके बारे में कहा जाता है की इसका निर्माण चंदेल वंश के राजाओ ने करवाया था | भारत के अंतिम हिन्दू सम्राट पृथ्वीराज चौहान के दरबार में एक कवी रहते थे जिनका नाम चंदरबरदाई था | उन्होंने अपनी पुस्तक पृथ्वीराज रासो में इस स्थान को “खजूरपुर” कहा है |

ऐसा माना जाता है की यहाँ खजूरों का बहुत बड़ा बगीचा था | इसलिए इस स्थान का नाम “खजुराहो” पड़ा था | भारत में यह मंदिर सिद्ध करता है की जिस तरह व्यक्ति को पिने के लिए जल और खाने के लिए भोजन की आवश्यकता है | उसी प्रकार मनुष्य के जीवन में काम-वासना भी आवश्यक है |

भारत में ही नहीं बल्कि अधिकांशतः धर्मो में $ex को गलत बताया जाता है लेकिन पुरे विश्व में यह सबसे बड़ा स्थान है जहाँ देवताओ के अतिरिक्त अन्य युगल मूर्तियां वासना में लिप्त है | मंदिर की सीढ़ियों के आगे दो शेर और हाथी बने हैं। मंदिर में देवताओ की प्रतिमाये, अष्टदिग्पाल, नाग कन्याएं व अप्सरा आदि हैं। अन्य कतारों में उस काल की समृद्धि राजसभा, रासलीला, विवाह और उत्सव आदि का चित्रण किया गया है |

यहाँ भगवान शिव माता पार्वती की प्रमुख मूर्तियां है | यहाँ इसके अतिरिक्त प्रमुख मूर्तियों में विष्णु, शिव, अग्निदेव आदि के साथ गंधर्व, सुर-सुंदरी, देवदासी, तांत्रिक, पुरोहित और मिथुन मूर्तियां हैं | इसी मंदिर से कुछ दूरी पर एक बहुत बड़ा मंदिर भूमि के नीचे दबा हुआ है। उस स्थान को बीजा मंडल कहते है।

लेकिन सोचने की बात यह है उस समय धर्मरक्षकों ने ऐसे मंदिरों के निर्माण की इजाजत कैसे दे दी और भारत जैसी संस्कृति में जिस चीज को काफी गलत माना जाता है, उसी क़ाम कलाओ में युक्त इतनी सारी युगल मूर्तियां यहाँ कैसे है | इसके बारे में इतिहासकारों का कहना है की यह मंदिर मानव के संयम की परीक्षा लेने के उद्देश्य से निर्मित किया गया है | इसके अतिरिक्त यह मंदिर धर्म, अर्थ, क़ाम, मोक्ष के सिद्धांत के आधार पर बनाया गया है |

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