नागपुर: केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी ने शनिवार को पीएम पद को इनकार करने की एक घटना का खुलासा किया। उन्होंने एक कार्यक्रम के दौरान कहा कि एक बार एक नेता ने प्रधानमंत्री पद की दौड़ में शामिल होने पर उन्हें समर्थन देने की पेशकश की थी, लेकिन उन्होंने इस प्रस्ताव को ठुकरा दिया था।
गडकरी ने कहा कि, पीएम पद को लेकर समर्थन मिलने के प्रस्ताव को उन्होंने यह कहते हुए ठुकरा दिया था कि उनकी ऐसी कोई लालसा नहीं है। बता दें कि नितिन गडकरी एक पत्रकारिता पुरस्कार समारोह में शामिल हुए थे। इस दौरान उन्होंने पत्रकारों को सम्मानित भी किया।
गडकरी ने सुनाया पीएम पद की पेशकश मिलने का किस्सा
केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी ने कहा, ‘‘मुझे एक घटना याद है- मैं किसी का नाम नहीं लूंगा। उस व्यक्ति ने कहा था कि अगर आप प्रधानमंत्री बनने जा रहे हैं, तो हम आपका समर्थन करेंगे।’’ हालांकि उन्होंने यह नहीं बताया कि यह वाकया कब का है। भाजपा के वरिष्ठ नेता ने कहा, ‘‘लेकिन, मैंने पूछा कि आपको मेरा समर्थन क्यों करना चाहिए और मुझे आपका समर्थन क्यों लेना चाहिए? प्रधानमंत्री बनना मेरे जीवन का लक्ष्य नहीं है। मैं अपने मान्यता और अपने संगठन के प्रति वफादार हूं और मैं किसी भी पद के लिए समझौता नहीं करूंगा क्योंकि मेरा दृढ़ निश्चिय मेरे लिए सबसे महत्वपूर्ण है।’’
चार वरिष्ठ पत्रकारों को किया सम्मानित
अपने भाषण में, गडकरी ने पत्रकारिता और राजनीति दोनों में नैतिकता के महत्व को जोर दिया। गडकरी ने समारोह में चार वरिष्ठ पत्रकारों को पत्रकारिता में उत्कृष्टता के लिए 2023-24 के अनिलकुमार पुरस्कार से सम्मानित किया। जिन पत्रकारों को नितिन गडकरी ने सम्मानित किया, उनमें विवेक देशपांडे, रामू भागवत, श्रीमंत माने और राम भाकरे हैं।