VIDEO: हमने कहा था कुंभ की सुरक्षा को…भगदड़ में हुई मौतों को लेकर फूट-फूटकर रोए महामंडलेश्वर प्रेमानंद पुरी, कहा- कुंभ कलंकित हो गया..

VIDEO: हमने कहा था कुंभ की सुरक्षा को…भगदड़ में हुई मौतों को लेकर फूट-फूटकर रोए महामंडलेश्वर प्रेमानंद पुरी, कहा- कुंभ कलंकित हो गया..नई दिल्ली: महाकुंभ मेले में मंगलवार की आधी रात भीड़ का दबाव इतना बढ़ा कि भगदड़ मच गई। इस हादसे में लगभग 17 से ज्यादा लोगों की मौत और सात लोगों के घायल होने की जानकारी मिली है। बताया जा रहा है कि घायलों को कुंभ क्षेत्र के सेक्टर 2 अस्पताल में भर्ती कराया गया है। इस हादसे को लेकर और कई मौतों के बाद महामंडलेश्वर प्रेमानंद पुरी रो पड़े। उन्होंने प्रशासन पर भी कई सवाल उठाए हैं। उन्होंने कहा कि संतों ने शुरू से ही सरकार से इस महाकुंभ मेला को सेना के हवाले करने की मांग की थी। अभी भी समय है इस धार्मिक मेले का प्रबंधन सेना के हवाले कर दिया जाए। बताया जा रहा है कि दुखद घटना और भीड़ के चलते अमृत स्नान रद्द कर दिया गया है।

मौतों को लेकर बोले महामंडलेश्वर प्रेमानंद पुरी

महाकुंभ में भगदड़ और मौतों पर बात चीत करते हुए पंचायती अखाड़ा श्री निरंजनी के महामंडलेश्वर प्रेमानंद पुरी अचानक रो पड़े। इस हादसे को लेकर महामंडलेश्वर प्रेमानंद पुरी ने कहा है कि जितनी बड़ी भीड़ थी, उसे पुलिस नहीं संभाल सकती थी। इतनी भारी भीड़ को संभालना पुलिसकर्मियों के वश की बात नहीं थी। समय से पहले ही कुंभ की सुरक्षा को सेना को हवाले कर देना चाहिए था। हमने पहले ही कहा था महाकुंभ को सेना को हवाले कर देना सबसे बेहतर उपाय है, लेकिन किसी ने भी हमारी बातें नहीं सुनी। आज हुए हादसे में किसी का पिता चला गया तो किसी कोई अपना। प्रेमानंद पुरी ने आगे कहा कि-अभी भी काफी समय है। कुंभ को सेना के हवाले कर दिया जाना चाहिए। बता दें कि भगदड़ के बाद महामंडलेश्वर प्रेमानंद पुरी के मीडिया से बात करते करते आंसू छलक पड़े।

मुझे बहुत दुख है-महामंडलेश्वर प्रेमानंद पुरी

परिस्थितियों पर बात चीत करते हुए पंचायती अखाड़ा श्री निरंजनी के महामंडलेश्वर प्रेमानंद पुरी ने रोते हुए कहा कि- इस समय मेरा मन बहुत व्यथित है और मैं अखाड़े में अपने साथियों से कहकर आया कि आपलोग यहां से ये अनाउंस मत कीजिए कि ये सब हो गया है। आप धीरे-धीरे अपने भक्तों से अपने कैंपों में लौटने के लिए कहिए, क्योंकि इससे वहां भी भगदड़ मचने की आशंका है। प्रशासनिक व्यवस्था से कुंभ कलंकित हो गया। उन्होंने आगे कहा- अगर कुंभ सेना के हवाले किया जाता तो मुझे नहीं लगता कि इतना बड़ा हादसा होता और इतने बड़े हादसे को लेकर मुझे बहुत दुख है, बहुत ज्यादा दुख है।

क्या बोले अखाड़ा परिषद के अध्यक्ष

अखिल भारतीय अखाड़ा परिषद के अध्यक्ष रवींद्र पुरी ने कहा, जनहित में हमने फैसला किया है कि अखाड़े आज स्नान में हिस्सा नहीं लेंगे और मैं लोगों से अपील करता हूं कि वे आज के बजाय वसंत पंचमी पर स्नान के लिए आएं। इसमें प्रशासन की कोई गलती नहीं है। हमें अधिकारियों के साथ सहयोग करना चाहिए।

इतने श्रद्धालुओं के पहुंचने की उम्मीद थी

जानकारी के अनुसार सरकार की ओर से जारी आंकड़ों का माने तो महाकुंभ जो इस साल 13 जनवरी से शुरू हुआ था, इसमें अब तक करीब 19.94 करोड़ लोग गंगा में डुबकी लगा चुके हैं। इसका मतलब आज यानी बुधवार को मौनी अमावस्या पर ही 10 करोड़ से ज्यादा श्रद्धालुओं के पहुंचने की उम्मीद जताई जा रही थी, परंतु इस हादसे ने हालातों को कुछ बदल कर रख दिया। मौनी अमावस्या के शुभ मौके पर स्नान करने के जुनून के कारण महाकुंभ गर एक बार फिर विश्व का सबसे बड़ा जिला बन गया है। जिसके कारण अब प्रयागराज की आबादी 5 करोड़ का आंकड़ा पार कर गई है। 4.64 करोड़ श्रद्धालुओं ने मंगलवार शाम छह बजे तक स्नान कर एक नया रिकॉर्ड बना डाला है।

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