2 साल से ब्लैकमेल हो रहा था पम्मी
वीडियो में पम्मी ने बताया कि वह 2 साल से ब्लैकमेलिंग का शिकार हो रहा था और इसी वजह से आत्महत्या का फैसला किया। वीडियो में मूल रूप से बुलंदशहर के औरंगाबाद में अहीर गांव के रहने वाले पम्मी ने बताया कि उसकी एक महिला मित्र 2 अन्य लोगों के साथ मिलकर 2 साल से उसे ब्लैकमेल कर रही थी। पम्मी उन लोगों को 6 लाख रुपए भी दे चुके थे, लेकिन वह अब भी पैसों की डिमांड कर रहे थे। वह लोग पम्मी को झूठी FIR में फंसाने की धमकी देकर पैसे ऐंठ रहे थे। इसी से परेशान होकर पम्मी ने मौत को गले लगा लिया।
ड्यूटी पर ही पम्मी ने मार ली गोली
2018 बैच का सिपाही पम्मी मंगलवार रात 8 बजे अपनी ड्यूटी पर ही तैनात था। यहां उनके साथ एक और सिपाही ध्यान सिंह की भी तैनाती थी। रात को ध्यान सिंह कुछ देर के लिए बाहर गया था तभी पम्मी ने खुद को गोली मार ली। उसकी मौके पर ही मौत हो गई। सूचना मिलते ही कई थानों का पुलिस फोर्स पहुंची। देर रात पुलिस कमिश्नर अजय कुमार मिश्र ने क्राइम स्पॉट की जांच-पड़ताल की।
बीवी के जेवरात बेचकर दिए थे पैसे
पम्मी ने वीडियो में बताया कि जो लड़की उसे 2 साल से ब्लैकमेल कर रही थी वह उसी के इलाके में रहती थी और उसी गांव के ही 1 एक और लड़के और एक अन्य लड़की के साथ मिलकर उसने पम्मी को फंसाया था। पम्मी ने इस दौरान अपनी बीवी के जेवरात बेचकर भी उन लोगों को पैसे दिए थे, लेकिन उनकी डिमांड बढ़ती ही जा रही थी। आखिर में तंग आकर पम्मी ने अपनी जान दे दी।