Land Survey Bihar: बिहार सरकार ने एक बड़ा फैसला लिया है जो राज्य के लाखों जमीन मालिकों के लिए राहत की खबर है। अब जमीन सर्वे में अपनी जमीन का नाम दर्ज कराने के लिए दाखिल-खारिज की प्रक्रिया अनिवार्य नहीं रही।
यह फैसला उन लोगों के लिए बहुत फायदेमंद है जिनकी जमीन का नाम अभी तक रजिस्टर नहीं हुआ है।
इस नए नियम से जमीन से जुड़े विवादों को कम करने और भूमि रिकॉर्ड को अपडेट करने में मदद मिलेगी। साथ ही, यह प्रक्रिया पहले से काफी आसान हो जाएगी। आइए इस महत्वपूर्ण बदलाव के बारे में विस्तार से जानें।
बिहार जमीन सर्वे क्या है?
बिहार जमीन सर्वे एक बड़ा अभियान है जिसका मकसद राज्य के सभी जिलों में जमीन के रिकॉर्ड को अपडेट करना है। इस सर्वे में:
- सभी जमीनों की नई मापी की जाएगी
- भूमि के मालिकाना हक की जांच होगी
- डिजिटल मैप तैयार किए जाएंगे
- पुराने रिकॉर्ड को अपडेट किया जाएगा
यह सर्वे 114 साल बाद किया जा रहा है और इससे जमीन विवादों को कम करने में मदद मिलेगी।
बिहार जमीन सर्वे की मुख्य बातें
विवरण | जानकारी |
शुरुआत तिथि | 20 अगस्त 2024 |
कुल गांव | 45,000 |
पूरा करने का लक्ष्य | 360 दिन |
दावा-आपत्ति की अवधि | 2 बार 15-15 दिन |
ऑनलाइन आवेदन | biharbhumi.bihar.gov.in |
मुख्य उद्देश्य | भूमि रिकॉर्ड का डिजिटलीकरण |
लाभार्थी | सभी जमीन मालिक |
सरकारी विभाग | राजस्व विभाग |
दाखिल-खारिज क्या है?
दाखिल-खारिज जमीन के रिकॉर्ड को अपडेट करने की प्रक्रिया है। इसमें:
- जमीन के नए मालिक का नाम सरकारी रिकॉर्ड में दर्ज किया जाता है
- पुराने मालिक का नाम हटाया जाता है
- जमीन का नया खतियान बनता है
पहले यह प्रक्रिया जरूरी थी, लेकिन अब सर्वे में भाग लेने के लिए इसकी अनिवार्यता खत्म कर दी गई है।
नए नियम का क्या है फायदा?
इस नए नियम से कई फायदे होंगे:
- जल्दी होगा काम: दाखिल-खारिज की लंबी प्रक्रिया से बचा जा सकेगा
- विवाद कम होंगे: सही मालिक का नाम आसानी से दर्ज हो जाएगा
- गरीबों को राहत: जिनके पास पैसे की कमी है, वे भी अपना हक सुरक्षित कर पाएंगे
- समय की बचत: लोगों को बार-बार दफ्तरों के चक्कर नहीं काटने पड़ेंगे
- रिकॉर्ड अपडेट: पुराने और गलत रिकॉर्ड सही हो जाएंगे
सर्वे में भाग लेने के लिए क्या करें?
अगर आप सर्वे में भाग लेना चाहते हैं तो इन बातों का ध्यान रखें:
- अपने गांव के सर्वे कैंप में जाएं
- जमीन से जुड़े सभी कागजात लेकर जाएं
- सर्वे टीम को अपनी जमीन दिखाएं
- सही जानकारी दें और फॉर्म भरें
- अगर कोई विवाद है तो उसकी जानकारी दें
किन दस्तावेजों की जरूरत पड़ेगी?
सर्वे में भाग लेने के लिए ये दस्तावेज जरूरी हैं:
- जमीन का खतियान
- जमीन की रसीद
- आधार कार्ड
- पहचान पत्र
- जमीन से जुड़े अन्य कागजात
ध्यान रखें, अगर आपके पास दाखिल-खारिज का प्रमाण नहीं है तो भी आप सर्वे में हिस्सा ले सकते हैं।
ऑनलाइन आवेदन कैसे करें?
अगर आप ऑनलाइन आवेदन करना चाहते हैं तो ये स्टेप्स फॉलो करें:
- biharbhumi.bihar.gov.in पर जाएं
- ‘जमीन सर्वे’ का ऑप्शन चुनें
- अपना जिला और गांव सेलेक्ट करें
- जरूरी जानकारी भरें
- दस्तावेज अपलोड करें
- फॉर्म सबमिट करें
सर्वे में क्या-क्या होगा?
सर्वे के दौरान ये काम किए जाएंगे:
- जमीन की नई मापी
- सीमा का निर्धारण
- मालिक का सत्यापन
- विवादों की जांच
- डिजिटल मैपिंग
- नए खतियान का निर्माण
सर्वे से जुड़ी महत्वपूर्ण बातें
- सर्वे में भाग लेना सभी जमीन मालिकों के लिए जरूरी है
- अगर आप विदेश में रहते हैं तो किसी को अधिकृत कर सकते हैं
- सर्वे के बाद 15 दिन का समय दावा-आपत्ति के लिए दिया जाएगा
- गलत जानकारी देने पर कानूनी कार्रवाई हो सकती है
- सर्वे के बाद नए डिजिटल खतियान जारी किए जाएंगे
सर्वे में क्या समस्याएं आ रही हैं?
सर्वे के दौरान कुछ समस्याएं भी सामने आ रही हैं:
- कई जगह लोगों के पास पुराने कागजात नहीं हैं
- कुछ लोग अपनी जमीन की सही जानकारी नहीं दे पा रहे
- विवादित जमीनों का मामला उलझ रहा है
- तकनीकी दिक्कतों के कारण काम में देरी हो रही है
सरकार क्या कर रही है समस्याओं को दूर करने के लिए?
सरकार इन समस्याओं को दूर करने के लिए कई कदम उठा रही है:
- ज्यादा टीमें: सर्वे के लिए और अधिक टीमें लगाई जा रही हैं
- तकनीकी सुधार: ऑनलाइन सिस्टम को बेहतर किया जा रहा है
- जागरूकता अभियान: लोगों को सर्वे के बारे में जानकारी दी जा रही है
- हेल्प डेस्क: हर जिले में मदद के लिए हेल्प डेस्क बनाए गए हैं
- समय सीमा बढ़ाई: जरूरत पड़ने पर समय सीमा बढ़ाई जा रही है
सर्वे के बाद क्या होगा?
सर्वे पूरा होने के बाद:
- सभी जमीनों के नए डिजिटल रिकॉर्ड तैयार होंगे
- हर मालिक को नया खतियान मिलेगा
- ऑनलाइन पोर्टल पर सभी जानकारी उपलब्ध होगी
- जमीन से जुड़े काम आसान हो जाएंगे
- विवादों में कमी आएगी
किसानों और जमीन मालिकों के लिए क्या है फायदा?
इस सर्वे से किसानों और जमीन मालिकों को कई फायदे होंगे:
- सही रिकॉर्ड: उनकी जमीन का सही रिकॉर्ड बनेगा
- कर्जा आसान: बैंक से कर्जा लेना आसान हो जाएगा
- विवाद खत्म: जमीन से जुड़े पुराने विवाद खत्म होंगे
- योजनाओं का लाभ: सरकारी योजनाओं का लाभ आसानी से मिलेगा
- जमीन की कीमत बढ़ेगी: स्पष्ट रिकॉर्ड से जमीन की कीमत बढ़ेगी
सर्वे में गड़बड़ी करने पर क्या होगा?
अगर कोई सर्वे में गड़बड़ी करता है तो उसके खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी:
- झूठी जानकारी देने पर जुर्माना लगेगा
- फर्जी दस्तावेज देने पर केस दर्ज हो सकता है
- दूसरे की जमीन हड़पने की कोशिश पर जेल भी हो सकती है
इसलिए सभी लोगों से अपील है कि वे सही और सच्ची जानकारी ही दें।
Disclaimer: यह लेख सिर्फ जानकारी के उद्देश्य से लिखा गया है। हालांकि इसमें दी गई जानकारी विश्वसनीय स्रोतों से ली गई है, फिर भी यह पूरी तरह से सटीक या अद्यतन नहीं हो सकती है। कृपया किसी भी कार्रवाई से पहले सरकारी वेबसाइट या अधिकृत स्रोतों से पुष्टि कर लें। लेखक या प्रकाशक किसी भी गलती या चूक के लिए जिम्मेदार नहीं होंगे। सरकारी नियम और प्रक्रियाएं समय-समय पर बदल सकती हैं, इसलिए हमेशा नवीनतम जानकारी के लिए आधिकारिक स्रोतों का संदर्भ लें।