उत्तर प्रदेश में 7 मीटर चौड़ा होगा ये स्टेट हाईवे, यातायात हो जाएगा आरामदायक

Uttar Pradesh : उन्नाव से हरदोई जिले के लिए छोटा चौराहा से मुड़ कर लोक नगर होते हुए कब्बा खेड़ा में निकलने वाले पुराने राज्य राजमार्ग का रूप बदलने जा रहा है। आजादी के बाद से ऐसा होने वाला है। मार्ग की वर्तमान चौड़ाई सिर्फ 3.5 मीटर है। चौड़ाई को दोगुना करके सात मीटर की होगी। इसके लिए भी विभाग को राज्य से 4.83 करोड़ रुपये मिल चुके हैं।

मार्ग को बढ़ाने के लिए विभाग ने टेंडरिंग शुरू कर दी है। एक्सईएन का दावा है कि मार्ग का चौड़ीकरण एक से डेढ़ महीने के अंदर शुरू हो जाएगा। नए वर्ष में लोक नगर सहित पूरे जनपदवासी और रात में चकलवंशी सफीपुर बांगरमऊ होकर हरदोई जाने वाले लोगों के लिए यह चौड़ीकरण एक महत्वपूर्ण उपहार होगा।

कानपुर जाने के लिए मिलेगा सीधा रास्ता

छोटा चौराहा से हरदोई की ओर जाने वाली यह सड़क दोनों ओर अच्छी खासी शहरी बसावट से घिरी हुई है। वहीं सड़क को चौड़ी करने से न सिर्फ यातायात आसान होगा बल्कि सड़क किनारे बसे मुहल्लों दुकानों प्रतिष्ठानों आदि की रौनक भी बढ़ जाएगी। मार्ग चौड़ा होने के बाद हरदोई से आने वाले भारी वाहनों को कब्बाखेड़ा से ओम नगर सिविल लाइन होकर कानपुर जाने का सीधा रास्ता मिलेगा।

इसी तरह कानपुर रायबरेली और अन्य स्थानों से उन्नाव जाने वाले वाहनों को हरदोई जाने के लिए यह रास्ता उपयुक्त होगा। 35 से 40 हजार वाहन प्रतिदिन मार्ग पर चलते हैं शहरी और अन्य नगरीय यातायात को मिलाकर।

इस राजमार्ग को लोक निर्माण विभाग ने बनाया है जो लोक नगर रेलवे क्रासिंग संख्या 34 से कब्बा खेड़ा तक 1.8 किमी है। निर्माण खंड प्रथम अधिशाषी अभियंता सुबोध कुमार ने बताया कि टेंडर लग गए हैं और जल्द ही काम शुरू होगा।

कब्बाखेड़ा तक दो विभागों के बीच है सड़क की जिम्मेदारी

पीडब्ल्यूडी यह रास्ता लोक नगर रेलवे क्रासिंग के बाद कब्बा खेड़ा तक चलाता है। लेकिन छोटा चौराहा से लोक नगर रेलवे क्रासिंग तक उन्नाव नगर पालिका की जिम्मेदारी है।

तो छोटा चौराहा से लोक नगर रेलवे क्रासिंग तक की सड़क का क्या होगा?

नपा के अंतर्गत वाले हिस्से की स्थिति पूर्ववत रहेगी जब लोक निर्माण विभाग अपने हिस्से की सड़क को चौड़ी करवा देगा। जिससे आधे रास्ते की चौड़ाई यातायात को लाभ देगी। वर्तमान में काम मार्ग रेलवे क्रासिंग से छोटा चौराहा तक बहुत खस्ताहाल है।

तोड़फोड़ की है कम गुंजाइश

इस काम में सात मीटर चौड़ाई पर तोड़फोड़ की गुंजाइश कम है। यदि कुछ स्थानों पर अतिक्रमण पाया जाएगा तो भले ही उसे ध्वस्त करना विभाग की जिम्मेदारी होगी।

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