नई दिल्ली। तमिलनाडु भाजपा के अध्यक्ष के. अन्नामलाई ने अन्ना विश्वविद्यालय दुष्कर्म मामले में स्टालिन सरकार के खिलाफ मोर्चा खोल दिया है। उन्होंने एलान किया है कि जब तक वह राज्य के सीएम एमके स्टालिन और उनकी डीएमके पार्टी को सत्ता से बाहर नहीं कर देते, तब तक वह जूते-चप्पल नहीं पहनेंगे। गुरुवार को कोयम्बटूर में एक प्रेस कॉन्फ्रेंस के दौरान उन्होंने यह बात कही है।
इस दौरान उन्होंने अपने जूते को उतारकर हाथों में ले लिया। उन्होंने कहा कि कल से (27 दिसंबर) वह अन्ना यूनिवर्सिटी की छात्रा के यौन उत्पीड़न के खिलाफ प्रदर्शन करेंगे।
के. अन्नामलाई ने कहा,”कल मैं अपने घर के सामने विरोध प्रदर्शन करूंगा, जहां मैं खुद को 6 बार कोड़े मारूंगा। कल से मैं 48 दिनों तक उपवास करूंगा और छह भुजाओं वाले मुरुगन से अपील करूंगा। कल भाजपा के हर सदस्य के घर के सामने विरोध प्रदर्शन किया जाएगा। कल से लेकर जब तक डीएमके सत्ता से बाहर नहीं हो जाती, मैं चप्पल नहीं पहनूंगा। इसका अंत होना चाहिए।”
डीएमके पर हमला करते हुए उन्होंने कहा कि सत्तारूढ़ पार्टी पीड़िता की जानकारी छिपाने में भी विफल रही। अन्नामलाई ने एक एक्स पोस्ट में कहा, “यह न केवल व्यक्तिगत अधिकारों के खिलाफ है, बल्कि एक अवैध कार्य भी है। मुख्यमंत्री एमके स्टालिन इसके लिए पूरी तरह जिम्मेदार हैं।”
डीएमके पार्टी से जुड़ा है आरोपी: भाजपा
के. अन्नामलाई ने आरोप लगाया है कि अन्ना विश्वविद्यालय दुष्कर्म मामले में गिरफ्तार बिरयानी विक्रेता ज्ञानशेखरन सैदाई ईस्ट में द्रमुक के छात्र संघ का डिप्टी ऑर्गनाइजर रहा है। वह आदतन अपराधी है। भाजपा नेता ने मुख्यमंत्री एमके स्टालिन के बेटे, उपमुख्यमंत्री उदयनिधि स्टालिन सहित द्रमुक के शीर्ष नेताओं के साथ ज्ञानशेखरन की तस्वीरें भी साझा कीं।
डीएमके ने इस मामले पर क्या कहा है?
हालांकि, आरोपी के द्रमुक से जुड़े होने के आरोपों से तमिलनाडु के कानून मंत्री एस. रघुपति ने इनकार किया है। उन्होंने कहा कि आरोपित द्रमुक का प्राथमिक सदस्य भी नहीं है। अन्नामलाई ने एक्स पर पोस्ट किया, पता चला है कि ज्ञानशेखरन, जिसे छात्रा के यौन उत्पीड़न के मामले में गिरफ्तार किया गया, वह पहले भी कई बार इसी तरह के अपराधों में शामिल रहा है। वह द्रमुक के सैदाई पूर्व छात्र छात्र संगठन का डिप्टी-आर्गनाइजर रहा है।
पूरे तमिलनाडु में ऐसे आपराधिक मामलों से स्पष्ट पैटर्न सामने आया है। अपराधी द्रमुक में शामिल हो जाता है। उसके खिलाफ मामले ठंडे बस्ते में डाल दिए जाते हैं। उसे पुलिस की निगरानी सूची में डाले बिना रिहा कर दिया जाता है।
स्थानीय द्रमुक नेताओं और मंत्रियों के दबाव के कारण, पुलिस मामलों की जांच नहीं कर पाती। अन्नामलाई ने आरोप लगाया, अब एक निर्दोष छात्रा इस क्रूरता की शिकार बनी है। द्रमुक सरकार इसके लिए पूरी तरह जिम्मेदार है। तमिलनाडु के लोग इस स्थिति को कब तक बर्दाश्त करेंगे? मुख्यमंत्री एम.के स्टालिन को जनता को जवाब देना चाहिए।
एआईडीएमके ने भी इस मुद्दे पर स्टालिन के खिलाफ खोला मोर्चा
इस बीच प्रमुख विपक्षी पार्टी अन्नाद्रमुक ने भी द्रमुक पर असामाजिक तत्वों को शरण देने का आरोप लगाया। तमिलनाडु में अन्ना विश्वविद्यालय की इंजीनियरिंग छात्रा के साथ 23 दिसंबर को कैंपस के अंदर दो लोगों ने सामूहिक दुष्कर्म किया था। पीडि़ता ने 26 दिसंबर को पुलिस में शिकायत दर्ज कराई। पुलिस ने इस सिलसिले में ज्ञानशेखरन को गिरफ्तार कर लिया है। दूसरे अभियुक्त की तलाश जारी है।
प्रदर्शन के दौरान सौंदरराजन हिरासत में
समाचार एजेंसी एएनआई के अनुसार, अन्ना विश्वविद्यालय परिसर में छात्रा के यौन उत्पीड़न के खिलाफ भाजपा के विरोध प्रदर्शन के दौरान गुरुवार को तमिलनाडु पुलिस ने भाजपा नेता तमिलिसाई सौंदरराजन और पार्टी के अन्य कार्यकर्ताओं को हिरासत में ले लिया।
विरोध प्रदर्शन का नेतृत्व कर रहीं सुंदरराजन ने कहा कि द्रमुक के नेतृत्व वाली राज्य सरकार उनकी आवाज को दबाने का प्रयास कर रही है। पुलिस ने इस मुद्दे पर प्रदर्शन कर रहे अन्नाद्रमुक कार्यकर्ताओं को भी हिरासत में लिया है।