भिवानी जिले के गांव बापोड़ा के राजकीय वरिष्ठ माध्यमिक विद्यालय में रसायन विषय की शिक्षिका की कुर्सी पर बम फोड़ने के मामले का शिक्षा विभाग ने खुलासा कर दिया। इन छात्रों ने इंटरनेट से बम बनाना सीखा था।
एक छात्र ने शिक्षिका की कुर्सी के नीचे बम लगाया तो दूसरे ने रिमोट दबा दिया।
इस मामले में विद्यालय के ही बारहवीं के विज्ञान संकाय के 13 विद्यार्थियों की संलिप्तता उजागर हुई। इसलिए उन्हें सात दिन के लिए विद्यालय से निष्कासित करने की सजा दी गई है।
इस मामले में डीईओ नरेश महता समेत कई शिक्षाधिकारी बुधवार को गांव बापोड़ा में पहुंचे। इस दौरान ग्राम पंचायत सदस्यों की मौजूदगी में पीड़ित शिक्षिका समेत कई विद्यार्थियों के अभिभावक भी मौजूद रहे। डीईओ नरेश ने कहा कि अगर ये छात्र अपने ज्ञान का सदुपयोग करते तो प्रोत्साहन मिलता, लेकिन दुरुपयोग पर उन्हें सजा मिली है।
इस मामले में विज्ञान संकाय के 13 विद्यार्थियों की संलिप्तता उजागर हुई। इस कक्षा में 15 विद्यार्थी पंजीकृत हैं। घटना के दिन दो विद्यार्थी अवकाश पर थे और कक्षा में मौजूद सभी 13 विद्यार्थी इस षड्यंत्र में शामिल थे।
इसके बाद सोची समझी योजना के तहत शिक्षिका की कुर्सी पर बम फिट कर उसका धमाका किया गया। हालांकि इस धमाके से शिक्षिका डर गई थी। डीईओ नरेश ने सभी 13 विद्यार्थियों को सात दिन के लिए विद्यालय से निष्कासित करने की सजा दी गई। इससे चिंतित ग्राम पंचायत ने बच्चों के भविष्य देखते हुए इस संवेदनशील मामले में रियायत का अनुरोध किया। उन्होंने कहा कि भविष्य में इस तरह की गलती दोहराने पर ग्राम पंचायत अपने स्तर पर कार्रवाई करेगी। पुलिस में भी मामला दर्ज किया जाएगा।
सभी बच्चों ने बनाई थी परीक्षण करने की योजना
गांव बापोड़ा के सरकारी स्कूल में 12वीं कक्षा में पढ़ने वाले विज्ञान के तीन छात्रों ने इंटरनेट से यूट्यूब पर देखकर रिमोट बम बनाया था। इस बम को तैयार करने के बाद इसको परीक्षण करने की योजना कक्षा में मौजूद सभी छात्रों ने बनाई थी। इसी को लेकर छह नवंबर को रसायन विषय की कक्षा में शिक्षिका की कुर्सी के नीचे बम रख दिया था। इस पर शिक्षिका के बैठते ही एक छात्र ने रिमोट दबा दिया। इसके बाद तेज धमाका हुआ और शिक्षिका की साड़ी के पल्लू में आग तक लग गई, जिसे बुझा दिया गया था। धमाके की आवाज सुनकर विद्यालय में मौजूद अन्य शिक्षक वहां पहुंचे और घटना से घबराई शिक्षिका को तत्काल जिला नागरिक अस्पताल पहुंचाया गया था।
डीईओ ने मांगा था स्कूल प्राचार्य से स्पष्टीकरण, बीईओ को सौंपी थी जांच
डीईओ ने इस पूरे प्रकरण की जांच के लिए संबंधित विद्यालय के प्राचार्य से स्पष्टीकरण मांगा और बीईओ शिवकुमार को जांच का जिम्मा सौंपा था। इस मामले में विद्यालय के ही 13 विद्यार्थियों की संलिप्तता सामने आई है। हालांकि विद्यार्थियों के अभिभावकों ने बताया कि इस घटना के बाद से बच्चे भी परेशान थे और खाना भी नहीं खा रहे थे।
हमने सरकारी स्कूल की कक्षा में बम फोड़ने की घटना को शुरुआत से ही गंभीरता से लिया था। इस मामले की जांच कराई गई। पंचायत में इस बात पर निर्णय हुआ है कि इस प्रकरण में शामिल सभी 13 विद्यार्थियों को सात दिन के लिए विद्यालय से निष्कासित किया है। भविष्य में ऐसी घटना न हो इसके लिए अभिभावकों ने लिखित में आश्वासन दिया है। ग्राम पंचायत के अनुरोध पर मामला निपटा दिया गया है। -नरेश महता, जिला शिक्षा अधिकारी, भिवानी।