साल 2007 में 9वीं क्लास में स्कूल छोड़ने के बाद उन्होंने सपने में भी नहीं सोचा था कि वह दोबारा कभी पढ़ाई कर पाएंगी। पढ़ाई छोड़ने के एक साल बाद उनकी शादी हो गयी और निथ्या घर परिवार की जिम्मेदारी में उलझ कर रह गयी लेकिन….
पढ़ाई के प्रति उनकी रूचि एक फिर तब जागी, जब उन्होंने एक सरकारी स्कूल में खाना बनाने का काम शुरू किया। बच्चों को पढ़ते देख निथ्या ने ठान लिया उन्हें भी आगे पढ़ना है। उनके इस फैसले में उनके पति एन. विनायगम और बेटे वी. संतोष ने भी उनका पूरा-पूरा साथ दिया।
इस तरह खुद की इच्छा शक्ति और परिवार के सपोर्ट से निथ्या ने पढ़ाई शुरू कर दी।
घर के काम से समय निकालकर वह पास के कोचिंग में पढ़ाई करने जाती। उनकी इस कड़ी मेहनत और लगन का फल आख़िरकार निथ्या को मिल ही गया और 500 में से 274 अंक के साथ उन्होंने 10वीं की परीक्षा पास कर ली। आपको निथ्या का यह जज़्बा कैसा लगा हमें कमेंट में जरूर बताएं। कैंसर की पहली स्टेज में शरीर में दिखाई देते हैं ये 8 बदलाव, क्लिक करके जानें